जब किसी बैठक या Meeting की समाप्ति हो जाती है, तो अंत में कल्याण मंत्र (Kalyan Mantra: sarve bhavantu sukhinah) बोला जाता है. इस स्तोत्र में सभी व्यक्तियों के सुखी होने की कामना की गई है. सभी व्यक्ति रोग मुक्त रहें, उन्हें किसी भी प्रकार की बीमारी ना हो. इस प्रकार की कामना भगवान से की गई है.
कल्याण मंत्र – Kalyan Mantra
ॐ सर्वेभवन्तु सुखिनः , सर्वे सन्तु निरामयाः ।
सर्वेभद्राणि पश्यन्तु , मा कश्चिद् दुःख भाग्भवेत् ॥
Om sarvēbhavantu sukhinaḥ, sarvē santu nirāmayāḥ.
Sarvēbhadrāṇi paśyantu, mā kaścid duḥkha bhāgbhavēt.
अर्थ – “सभी प्रसन्न रहें, सभी स्वस्थ रहें, सबका भला हो, किसी को भी कोई दुख ना रहे। ऊँ शान्तिः शान्तिः शान्तिः”
English Lyrics
Om Sarve Bhavantu Sukhina Sarve Santu Niramaya
Sarve Bhadrani Pashyantu Ma Kaschiddukhbhagbhavet
Meaning: “May all be happy, May all be healthy, May all be well, May no one suffer any sorrow. Om Shanti: Shanti: Shanti:”
मंत्र शब्द 2 अक्षरों से मिलकर बना है. यह एक ऐसी ध्वनि है जो संपूर्ण ब्रह्मांड में तरंग आत्मक ऊर्जा से व्याप्त है जिसके दो प्रकार होते हैं नाद एवं प्रकाश। मंत्र केवल ध्वनि ही नहीं जो कि हम कानों से सुनते हैं बल्कि यह ध्वनिया यह ध्वनियाँ तो मंत्रों का लौकिक स्वरुप भर हैं।
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